Water Fasting: सिर्फ पानी पीकर युवक ने 21 दिनों में घटाया 13 किलो वजन, जानिए क्या है वॉटर फास्टिंग
Water Fasting: वाटर फास्टिंग की मदद से 21 दिनों में 13 किलो ग्राम वजन कम करने वाले युवा अदीस मिलर की फोटो इन दिनों सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रही है, जिसमें युवक ने वाटर फास्टिंग की मदद से 21 दिनों में अपना बेहतरीन ट्रांसफॉर्मेशन किया है, एक दो नहीं बल्कि 13 किलो वजन कम किया है,
अदीस मिलर ने यूट्यूब पर वीडियो शेयर करते हुए अपने वेट लॉस जर्नी के बारे में बताया कि शुरू के दिनों में लो एनर्जी फील हो रही थी, पहले कुछ दिनों में मुझे ऐसा लगा जैसे मेरा शरीर अंदर से क्लीन हो रहा है। मेरा पेट में बहुत गुड़गुड़ हो रही थी, मैं थक गया था’।
Water Fasting: मिलर आगे कहते है वाटर फास्टिंग के शुरुआती दिन उनके लिए काफी कठिन थे, जिसमें उन्हें अपने शरीर में लो एनर्जी फील हो रही थी। बावजूद इसके मिलर शुरुआत में दिन भर में घूंट-घूंट करके 4 लीटर पानी पीते रहे। लेकिन कुछ ही दिनों में मिलर को अपनी शुष्क त्वचा और लाल आंखों को देखकर यह अहसास होने लगा कि उनकी बॉडी को अधिक पानी की आवश्यकता है।
अदीस मिलर ने अपने यूट्यूब चैनल पर एक वीडियो शेयर किया है, जिसमें उसने बताया कि तीन हफ्ते तक वाटर फास्टिंग करने से उन्होंने 13.1 किलोग्राम यानी कि 28 पाउंड वजन कम किया, वहीं शरीर की चर्बी भी 6% तक कम हुई है. आइये जानते है अब यह वाटर फास्टिंग है क्या और क्या यह शरीर के लिए फायदेमंद होती है या नुकसानदायक आइए हम आपको बताते हैं वाटर फास्टिंग के बारे में
क्या है वॉटर फास्टिंग
वॉटर फास्टिंग के दौरान व्यक्ति पानी पीने के अलावा कुछ भी नहीं खा सकता हैं। बता दें वॉटर फास्टिंग ज़्यादातर 24-72 घंटे तक चलती है। लोग वॉटर फास्टिंग को कई कारणों से करते हैं, जिसमें वेट लॉस ,आध्यात्मिक या धार्मिक कारण या फिर सेहत से जुड़ी कोई खास समस्या से राहत पाना शामिल हो सकता है। वाटर फास्टिंग में सॉलिड की जगह लिक्विड डाइट पर फोकस किया जाता है और एक फिक्स टाइम गैप के बाद ही पानी या लिक्विड लिया जाता है. वाटर फास्टिंग शरीर को बेहतर डिटॉक्सिफिकेशन, बेहतर पाचन और वेट लॉस में मदद करता है.
वाटर फास्टिंग के नुकसान-
पोषक तत्वों की कमी-लंबे समय तक फास्टिंग करने से शरीर में जरूरी पोषक तत्वों की कमी हो सकती है, जिसका बुरा असर सेहत पर पड़ सकता है। इलेक्ट्रोलाइट डिस्बैलेंस-खाने की कमी इलेक्ट्रोलाइट संतुलन को बाधित कर सकती है, जिससे कमजोरी, चक्कर आना या दिल की धड़कन बढ़ सकती है।
लंबे समय तक सिर्फ पानी पीने की वजह से शरीर में एनर्जी की कमी हो सकती है, जिस वजह से थकावट, चक्कर आना जैसी परेशानियां हो सकती है। साथ ही, इस दौरान शरीर में होने वाले इलेक्ट्रोलाइट्स बदलाव ब्लड प्रेशर ज्यादा कम भी कर सकते हैं। जिससे हार्ट एरिथमिया का खतरा भी बढ़ जाता है, जो जानलेवा साबित हो सकता है। बिना परामर्श वाटर फास्ट करने से मधुमेह और ह्रदय रोग जैसी दिक्कतें हो सकती हैं। वाटर फास्ट के बाद अचानक वजन में बढ़ोतरी हो सकती है।