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Congress Foundation Day : विदेश में राहुल, सोनिया बीमार! स्थापना दिवस पर कांग्रेस मुख्यालय में एके एंटनी को फहराना पड़ा झंडा

अपने अध्‍यक्ष की गैर-मौजूदगी में मुख्‍यालय पर कांग्रेस पार्टी का झंडा वरिष्‍ठ नेता एके एंटनी ने फहराया। कांग्रेस आज अपना 136वां स्‍थापना दिवस मना रही है। इस मौके पर अंतरिम अध्‍यक्ष सोनिया गांधी भी मुख्‍यालय में आयोजित समारोह में नजर नहीं आईं। पूर्व अध्‍यक्ष राहुल गांधी निजी यात्रा पर एक दिन पहले ही विदेश रवाना हो चुके हैं। हां, गांधी परिवार की तरफ से पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी जरूर स्‍थापना दिवस समारोह में शामिल हुईं। एके एंटनी आज अपना 81वां जन्‍मदिन मना रहे हैं और मुख्‍यालय में पार्टी का झंडा उन्‍होंने ही फहराया। आमतौर पर कांग्रेस अध्‍यक्ष ध्‍वजारोहण करते हैं मगर न तो सोनिया मौजूद थीं, न ही राहुल।

सोनिया गांधी ने जारी किया संदेश
पार्टी की अंतरिम अध्‍यक्ष सोनिया गांधी स्‍थापना दिवस समारोह से तो दूर रहीं, मगर उन्‍होंने वीडियो संदेश जारी किया है। सोनिया ने कार्यकर्ताओं को शुभकामनाएं देते हुए केंद्र सरकार पर निशाना साधा। उन्‍होंने कहा कि “जनता के अधिकार कुचले जा रहे हैं। चारों ओर तानाशाही का आलम है। लोकतांत्रिक और संवैधानिक संस्‍थाओं को खत्‍म किया जा रहा है। बेरोजगारी चरम सीमा पर है। खेत-खलिहान पर हमला बोला जा रहा है और देश के अन्‍नदाता पर काले कानून थोपे जा रहे हैं।”

‘निजी’ दौरे पर विदेश गए हैं राहुल गांधी
पार्टी के स्थापना दिवस से ठीक एक दिन पहले, रविवार को राहुल गांधी एक निजी यात्रा पर विदेश चले गए थे। कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने इस बात की पुष्टि की। उन्‍होंने यह नहीं बताया कि वे कहां गए हैं मगर इस बात की अटकलें तेज हैं कि राहुल इटली गए हैं। उनकी यात्रा ऐसे समय में हुई है जब पार्टी सोमवार को देश भर में तिरंगा यात्रा निकाल रही है। राहुल गांधी ने गुरुवार को कृषि कानूनों के खिलाफ राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मिलने के लिए एक प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया था और उन्हें एक ज्ञापन सौंपकर आग्रह किया था कि वो सरकार से किसानों की मांगों पर विचार करने के लिए कहें। उन्होंने संसद के संयुक्त सत्र बुलाकर कृषि कानूनों को वापस लेने की भी मांग की थी।

किसान आंदोलन को लेकर हमलावर थे राहुल
विदेश रवाना होने से पहले, राहुल समेत कांग्रेस नेताओं ने राष्‍ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की थी। वे दो करोड़ हस्ताक्षर के साथ गए थे। बाद में मीडिया से राहुल ने कहा था, “हमने किसानों की आवाज सुनी है। यह सर्दियों का मौसम है और पूरा देश देख रहा है कि किसान दर्द में है, उनमें से कई मर रहे हैं और प्रधानमंत्री (नरेंद्र मोदी) को उनकी बात सुननी चाहिए।”

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